बागीदौरा में 14 इंच बारिश, बांसवाड़ा में 7 लोगों की गई जान

➤ माही नदी के जलप्रवाह क्षेत्र में कई जगह फंसे लोग, स्टेट हाईवे बंद ➤ कडाना और सुरवानिया डेम के सभी गेट खोले, गलियाकोट में खाली कराई निचली बस्तिया ➤ डोकर गांव में एसडीआरएफ ने 146 जूनों को किया रेस्क्यू, कई कच्चे मकान गिरे ➤ जनजीवन अस्त व्यस्त, कई क्षेत्रों में क्षेत्रों में त्राहिमाम की स्थिति

Pratahkal    18-Sep-2023
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mahi nadi 
 
बांसवाड़ा (प्रातःकाल संवाददाता) । मानसूनी मेघों ने जाते- जाते वागड़ में दो दिन में ऐसा झमाझम पानी बरसाया कि कई जगह रेस्क्यू ऑपरेशन चलाने पड़े तो हादसों में सात लोगों की जान चली गई। नियंत्रण कक्ष के अनुसार कुशलगढ़ क्षेत्र (Kushalgarh area) में पानी में बहने से तीन, आनंदपुरी क्षेत्र (Aanadpuri area) में पानी में बहने और मकान ढहने से एक-एक, सज्जनगढ़ क्षेत्र में मकान की दीवार गिरने और घाटोल के भूँगड़ा क्षेत्र में पानी में बहने से एक मौत हुई। माही डेम के 16 गेट खुलने के बाद बेणेश्वर टापू बन गया तो माही नदी के रास्ते में कई जगह लोग फंस गए जिन्हें रेस्क्यू करना पड़ा। बांसवाड़ा के आनंदपुरी ब्लॉक के डोकर गांव में 146 जनों को नाव से रेस्क्यू किया। बागीदौरा में एम ही दिन में 365 मिलीमीटर अर्थात 14.6 इंच बारिश हो गई जो देर रात तक जारी थी। मौसम विभाग के अनुसार सोमवार को भी उदयपुर (udaipur) और बांसवाड़ा (banswara) संभाग में कुछ जगहों पर भारी से भारी बारिश हो सकती है। बारिश का सबसे ज्यादा असर बांसवाड़ा, डूंगरपुर (Dungarpur) और प्रतापगढ़ (pratapgarh) में दिखाई दिया। इधर, वही कडाना डेम के भी गेट खुलने पर जिले का गलियाकोट क्षेत्र को हाई अलर्ट कर दिया है और निचले जल भराव में निवासरत लोगो को सुरक्षित स्थान पहुचाया। दाहोद मार्ग पर सुरवानिया बांध के भी सभी 10 गेट छह फीट तक खोल दिए हैं। डूंगरपुर से बांसवाड़ा को जोड़ने वाले स्टेट हाईवे पर बने लसाड़ा पुल पर भी ज्यादा पानी बह रहा है, जिसके कारण हाईवे बंद हो गया है। जयपुर (jaipur)-बांसवाड़ा हाईवे भी बंद है। मौसम विभाग के अनुसार बीते 24 घंटों में राजस्थान में सबसे ज्यादा बारिश 365 मिलीमीटर बांसवाड़ा जिले के बागीदौरा में हुई। बांसवाड़ा में 223, सज्जनगढ़ 277, सल्लोपट 272, केसरपुरा 252, शेरगढ़ 270, दानपुर 205, कुशलगढ़ 182, घाटोल 196, भूंगड़ा 200, गढ़ी 110, जगपुरा 72, लोहारिया 54, अरथुना में 83 मिमी बारिश दज की गई। उदयपुर जिले के कोटड़ा में 71, लसाड़िया 68, कानोड़ 67, झल्लारा 63, कुराबड़ 62, सलूंबर जिले में 55, सेमारी 52, ओगणा 50 मिमी बारिश हुई। इधर, प्रतापगढ़ के पीपलखूंट में 147, सुहागपुरा 135, प्रतापगढ़ शहर में 100, दलोट 129, अरनोद 109, गलियाकोट में 116, चिकली 86, आसपुर 81, निंबाहेड़ा में 85, मिमी बारिश दर्ज की गई।
 
सज्जनगढ़। सज्जनगढ़ (Sajjangarh) उपखंड के अनास नदी स्थित झलकियां गांव के बीच टापू में फंसे किसान को 36 घंटे बाद एनडीआरएफ की टीम ने सुरक्षित निकाला। झलकीय निवासी राम सिंह पुत्र भूरा अनास नदी (Anas River) के उसे छोड़ टापू से ऊपरी भाग पर खेत की फसल को देखने गया था। उस दौरान मूसलाधार बारिश के चलते अनास नदी उफान पर आ गई व वह टापू के अंदर ही फस गया । राम सिंह देर रात घर नहीं लौटा तो हड़कंप मच गया। सज्जनगढ़ पुलिस को सूचना दी गई। करीब 2 घंटे बाद जलदाय विभाग के कर्मचारी ने टापू में फंसे वृद्ध को दूर से देखा। पुलिस थाना एएसआई नरेंद्र सिंह ने जिला हेड क्वार्टर पर सूचना दी। एनडीआरएफ टीम को मौके पर भेजा। रविवार 4 बजे एनडीआरएफ की टीम आई व स्पीड बोड पर किसान को रेस्क्यू किया।
 
प्रतापगढ़ में टापू पर फंसे चार लोगों को बचाया
 
माही नदी (Mahi River) में पानी आने से प्रतापगढ़ ग्राम पंचायत जूना बोरिया के सुरानी का खेड़ा में चार मजदूर टापू पर फंस गए। जिनको जिला कलेक्टर की मौजूदगी में 3 घंटे की मशक्कत के बाद रेस्क्यू किया गया।
 
बेणेश्वर (Beneshwar) में फंसे 48 लोग सुरक्षित
 
माही डेम के सभी 16 गेट खोलने के 12 घंटे बाद डूंगरपुर का सबसे बड़ा धार्मिक स्थल बेणेश्वर (Beneshwar) धाम टापू बन गया है। धाम पहुंचने के तीनों पुलियों पर 15 से 20 फीट तक पानी बह रहा डूंगरपुर से बांसवाड़ा को जोड़ने वाले स्टेट हाईवे पर भी 15 फीट से ज्यादा पानी बह रहा है। जिससे दोनो ही शहरो का सड़क संपर्क टूट चुका हैं। इससे पुल के दोनो तरफ गाड़ियों की लाइनें लग गई। धाम पहुंचने व बांसवाडा-डूंगरपुर - उदयपुर जिलों को जोड़ने वाले के साबला, वालाई और बांसवाड़ा पुल पर पानी का स्तर बढ़ने लगा हैं। रविवार को पुल पर 15 से 20 फीट पानी चल रहा है।